दांडी मार्च के समापन दिवस पर जिला स्तरीय संगोष्ठी सम्पन्न
खास खबरBy Sirohiwale
सिरोही ब्यूरो न्यूज़
रिपोर्ट हरीश दवे
सिरोही राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की 150वीं जयन्ती वर्ष एवं स्वतंत्रता- दिवस की 75 वीं वर्षगांठ के क्रम में दांडी मार्च के समापन दिवस ‘‘दांडी मार्च की वर्तमान में प्रासंगिकता‘‘ पर संगोष्ठी जिला स्तरीय सम्मेलन कृषि विभाग के आत्मा परियोजना सभागार में सम्पन्न हुआ।
अति. जिला कलक्टर गितेश श्रीमालवीय ने कहा कि आज से 91 वर्ष पूर्व राष्ट्रपिता महात्मा गांधी ने अंग्रेजी हुकुमत द्वारा बनाये काले कानून का अहिंसक तरीके से विरोध कर दुनिया को अहिंसावादी रास्ता दिखाया। मालवीय ने कहा कि हमें भी बापू के बताये मार्ग पर चलकर हमारी मांग रखनी चाहिए। किसी भी परिस्थिति में हिंसा का मार्ग नहीं अपनाना चाहिए।
राजकीय महाविद्यालय के सह आचार्य डाॅ ज्ञान विकास मिश्रा ने दांडी मार्च का वर्णन कर 06 अप्रैल 1930 को गांधीजी द्वारा तोडे गये नमक कानून के कारणों, दांडी यात्रा के शुरू से अंत तक की एक एक घटना का बहुत ही बारिकी से चित्रण कर सभी श्रोताओं को मंत्रमुग्ध कर दिया। अन्य प्रवक्ता डाॅ नवनीत वर्मा सह आचार्य राजकीय महाविद्यालय सिरोही ने गांधी दर्शन की वर्तमान परिप्रेक्ष्य भूमिका पर प्रकाश डालकर संगोष्ठी में उपस्थित अधिकारियों एवं गांधी जीवन दर्शन समिति से जुडे स्वंयसेवकों को गांधीजी के सविनय अवज्ञा आंदोलन प्रत्येक घटना की विस्तृत जानकारी दी।
महात्मा गांधी जीवन दर्शन समिति के जिला संयोजन राजेन्द्र सांखला ने गांधी दर्शन पर अपने विचार व्यक्त किये एवं राज्य सरकार की कुछ महत्वाकांक्षी योजनाओं की भी जानकारी दी। कार्यक्रम का संचालन महात्मा गांधी राजकीय विद्यालय सिरोही के वरिष्ठ अध्यापक दिलीप कुमार शर्मा ने किया।
इस अवसर पर उपखण्ड अधिकारी हंसमुख कुमार, नगर परिषद आयुक्त महेन्द्र चैधरी, सामाजिक न्याय एवं आधिकारिता विभाग के उप निदेशक बाबुलाल गरासिया, महिला अधिकारिता विभाग की उप निदेशक श्रीमती अंकिता राजपुरोहित, महात्मा गांधी जीवन दर्शन समिति ब्लाॅक समन्वयक गोपालसिंह जैला, सह संयोजक जयन्ती माली, समाजसेवी भूपेन्द्र देसाई, हैल्पिंग हैण्ड सोसाईटी के प्रदेशाध्याक्ष फिरोजखान पठान सहित समस्त जिला स्तरीय अधिकारीगण उपस्थित रहें।